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Patriotic Poem in Hindi | स्वतंत्रता पर कविता हिंदी में
भ्रष्टाचार से मुक्ति चाहिए
शासन प्रशासन में अनैतिक कोई अनुबंध ना हो
स्वतंत्र तो हो गए हम 47 में,
पर स्वतंत्र का मतलब स्वच्छंद ना हो
मनुष्य के तीन प्रकार – हिंदी कविता
घटिया होते हैं वो लोग,
जो करते हैं सिर्फ लोगों की बात
खुद की प्रशंसा और दूसरों की बुराई मे,
खपाते अपने दिन और रात
जीवन का उद्देश्य कविता – अनन्त युगों से चल रही दुनिया
अनन्त युगों से चल रही दुनिया,
अनन्त युगों तक चलना है
अनन्त जीवन पाना है,
अनन्त रूपो में ढलना है
अनन्त क्षितिज है, अनन्त सूर्य है,
अनन्त हमारी अभिलाषायें
अनन्त है विस्तार ब्रह्मांड का,
अनन्त हमारी दसों दिशायें
चुनाव कविता – आखिर संपन्न हुए चुनाव | व्यंग्य
लोकतंत्र का महापर्व,
दुनिया जिस पर करती गर्व
जनता चाहती सुखद बदलाव
आखिर संपन्न हुए चुनाव…
5 साल का जनादेश,
जीवन भर फिर ऐश ही ऐश
नेता ओढ़ें संतों का वेष,
यद्यपि संत भी अब कहां शेष
मेहनतकश पर कविता | मजदूर दिवस
विधाता ने बनाई दुनिया,
पर बाकी कुछ रखे बचा कर काम
रंगहीन दुनिया में रंग भरने को,
श्रमिक ही हैं दूसरे भगवान
आरएसएस का संदेश विशेष – एक धर्म, एक ध्वज, एक देश
हिंदू संस्कृति, हिंदू जागृति,
हिंदु उत्थान और हिंदुस्तान
आरएसएस पर्याय हिंदुत्व का,
भारतीयता को दिलाता पहचान