सब कुछ बिकता है – हरिवंश राय बच्चन | Sab Kuch Bikta Hai
सब कुछ बिकता है | Sab Kuch Bikta Hai
यहाँ सब कुछ बिकता है,
दोस्तों रहना जरा संभाल के!
बेचने वाले हवा भी बेच देते है,
गुब्बारों में डाल के!!
सच बिकता है, झूठ बिकता है,
बिकती है हर कहानी!
तीन लोक में फैला है,
फिर भी बिकता है बोतल में पानी!!
कभी फूलों की तरह मत जीना,
जिस दिन खिलोगे, टूट कर बिखर जाओगे।
जीना है तो पत्थर की तरह जियो;
जिस दिन तराशे गए, “खुदा” बन जाओगे।।
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