Category: विजय दिवस कविता

विजय दिवस

विजय दिवस: 2 टुकड़े करना दुश्मन के और समर्पण करना 93 हजार

याद करे हम उन्नीस सौ इकहत्तर, सुलग रहा था पाकिस्तान का पूर्वोत्तर आंतरिक मसला था पाकिस्तान का, पर था हमारी सीमा से सट कर हजारो मर रहे थे पूर्वी पाकिस्तानी, भारत पर भी होने लगा असर