
Yoga Poem: योग मिटाता संजोग रोग से
आज दुनिया मना रही योग दिवस,
भारत की हो रही जय जयकार
मोदी जी के अथक प्रयासों से,
भारतीयता में रम रहा संसार

कविता: योग फॉर वसुधैव कुटुम्बकम्
योग फॉर वसुधैव कुटुम्बकम्,
जीवन का उत्थान,
यहाँ आपको जीने का सही रास्ता सिखाता है
मानवता का पाठ पढाता है।

योग पर कविता – योग दिवस पर कविता
जागो जगाने आया हूँ,
योग के साथ लय लाया हूँ।
सूर्योदय के संग जगमगा रहा हूँ,
आत्मा को जगाने आया हूँ।